दुनिया जिसे सबसे आधुनिक,विकसित और सवर्ण समझता है,दरअसल वह एक पिछङा,अमर्यादित और असमाजिक है,
Developed and progressive in the eyes of the world is actually a nation infected with racism and hatred
दुनिया जिसे सबसे आधुनिक,विकसित और सवर्ण समझता है,दरअसल वह एक पिछङा,अमर्यादित और असमाजिक है,
अमेरिका में सदियों से रंग भेद को लेकर हिंसा ,हतयाऐं और आंदोलन होते रहे हैं ,अभी हालिया मामला एक पुलिस दवारा अपने पैर से एक काले जवान अमेरिकी नागरिक की गला दबाकर हत्या करने का है,हथकड़ी लगे 42 वर्षीय इस वयक्ति की मौके पर ही मौत हो जाती ,इनके साथ तीन पुलिस वाले और भी होते हैं ,जनता भी रहती है,लेकिन कोइ बचाने की कोशिश नही करता ,जब तक मेडिकल टीम मौके पर पहुंचती है उस अमेरिकी की जान निकली रहती है, लोग खरे होकर वीडियो बनाने में लगे रहते हैं ,और जैसे ही यह वीडियो वायरल होता है हिंसा,प्रदर्शन और आंदोलन शुरु हो जाता है,
गोरे काले का भेद अमेरिका में हमेशा से रहा है,जबकि अमेरिकी कानून के मुताबिक नस्ल ,रंग,क्षेत्र के आधार पर भेद भाव अपराध है और यह कानून साठ साठ साल पहले मार्टिन लूथर के नेत्रत्व में हुए एक देशव्यापी आंदोलन के बाद बना दिया गया था,लेकिन यह भेद भाव कम तो हुआ लेकिन पूरी तरह से रूका नही,
आज दुनिया जिस अमेरीका को सबसे मोडर्न कहता है वहां की पुलिस अगर ऐसी हैवानियत दिखाये और सरकार उसपर हत्या का मामल दर्ज करने से बचे तो आप इसको कया कहेंगे,इस आंदोलन और प्रदर्शन का मुख्य कारण भी यही था के इन पुलिस वालों पर हत्या का मामला दर्ज नही हो रहा था,यह आंदोलन उग्र होता गया और अब करीब चालिस शहरों में हिंसा ,आगजनी और तोड़ फोर जारी है, ऐसी हतयाऐं और घटनाएँ तभी रूकेंगी जब सरकार सख्त कार्यवाई करे,सामाजिक शिक्षा पर धयान दे,
Article sent by : गजनफर इकबाल बेनीबाद ,मुजफ्फरपुर